Hindi
Tuesday 26th of November 2024
0
نفر 0

चिकित्सक 4

चिकित्सक 4

पुस्तक का नामः पश्चताप दया का आलंगन

लेखकः आयतुल्लाह अनसारियान

يَا أَيُّهَا الَّذِينَ آمَنُوا هَلْ أَدُلُّكُمْ عَلَى تِجَارَة تُنجِيكُم مِنْ عَذَاب أَلِيم * تُؤْمِنُونَ بِاللَّهِ وَرَسُولِهِ وَتُجَاهِدُونَ فِي سَبِيلِ اللَّهِ بَأَمْوَالِكُمْ وَأَنفُسِكُمْ ذلِكُمْ خَيْرٌ لَكُمْ إِن كُنتُمْ تَعْلَمُونَ * يَغْفِرْ لَكُمْ ذُ نُوبَكُمْ وَيُدْخِلْكُمْ جَنَّات تَجْرِي مِن تَحْتِهَا الأَنْهَارُ وَمَسَاكِنَ طَيِّبَةً فِى جَنَّاتِ عَدْن ذلِكَ الْفَوْزُ الْعَظِيمُ 

या अय्योहल्लज़ीना हलअदुल्लोकुम अलातेजारतिन तुनजीकुम मिन अज़ाबिन अलीमिन * तूमेनूनाबिल्लाहे वरसूलेहि वतजाहेदूना फ़ी सबीलिल्लाहे बेअमवालेकुम वअनफ़ोसेकुम ज़ालेकुम ख़ैरुल्लकुम इनकुन्तुम तालमूना * यग़फ़िरलकुम ज़ोनूबकुम वयुदख़ेलकुम जन्नातिन तजरी मिन तहतेहल अनहारो वमसाकेना तय्येबतन फ़ी जन्नाते अदनिन ज़ालेकल फ़ौज़लअज़ीमो[1]

हे वो लोग जो आस्था करते है! क्या मै तुम्हारे लिए ऐसा व्यापार बताऊ जो तुम्हे दर्दनाक पीड़ा से बचाऐ * ईश्वर उसके दूत (रसूल) मे विश्वास रख़ो, तथा अपने प्राणो एवं धन के साथ ईश्वर के मार्ग मे प्रयास करो, यदि जानते हो तो तुम्हारा यह व्यापार हर प्रकार के व्यापार से अच्छा है * इस व्यापार के माध्यम से ईश्वर तुम्हारे पापो को क्षमा कर देगा और तुम्हे स्वर्ग मे भेजेगा जिसके वृक्षो के नीचे नहरे चलती होगीं, और अदन बाग़ मे तुम्हे स्वच्छ मकान प्रदान करेगा, यह सर्वश्रेष्ठ इनाम है।  

إِن تُقْرِضُوا اللَّهَ قَرْضاً حَسَناً يُضَاعِفْهُ لَكُمْ وَيَغْفِرْ لَكُمْ وَاللَّهُ شَكُورٌ حَلِيمٌ 

इन तुक़रेज़ुल्लाहा क़रज़न हसानन योज़ाइफ़हो लकुम वयग़फ़िरलकुम वल्लाहो शकूरुन हलीमुन[2]

यदि ईश्वर के लिए उसके दासो को उधार दोगे, तो ईश्वर उस उधार को तुम्हारे लिए कई गुना कर देगा और तुम्हारे पापो को क्षमा कर देगा ईश्वर इनाम देने वाला और हलीम है।

وَالَّذِينَ عَمِلُوا السَّيِّئَاتِ ثُمَّ تَابُوا مِن بَعْدِهَا وَآمَنُوا إِنَّ رَبَّكَ مِن بَعْدِهَا لَغَفُورٌ رَحِيمٌ 

वल्लज़ीना अमेलुस्सय्येआते सुम्मा ताबू मिन बादेहा वआमनू इन्ना रब्बका मिन बादेहा लग़फ़ूरुर्रहीमुन[3]

जो लोग पापो मे गिरफ़तार हुए उसके पश्चात उन्होने पश्चाताप किया ओर ईश्वर की ओर लौटे तथा विश्वास रखा, निसंदेह हे ईश्वर तू उनके पश्चाताप और विश्वास के पश्चात, दयालु एवं क्षमा करने वाला है।



[1] सुरए सफ़ 61, छंद 10-12

[2] सुरए तग़ाबुन 64, छंद 17

[3] सुरए आराफ़ 7, छंद 153

0
0% (نفر 0)
 
نظر شما در مورد این مطلب ؟
 
امتیاز شما به این مطلب ؟
اشتراک گذاری در شبکه های اجتماعی:

latest article

अरब सरकारें फिलिस्तीन को बेच कर ...
यमन पर अतिक्रमण में इस्राईल की ...
क़ुरआन तथा पश्चाताप जैसी महान ...
सीरिया, लाज़ेक़िया के अधिकांश ...
पश्चाताप आदम और हव्वा की विरासत 4
नाइजीरियाई सेना का क़हर जारी, ...
इमाम अली अलैहिस्सलाम की दृष्टि मे ...
चिकित्सक 2
लोगों के बीच सुलह सफ़ाई कराने का ...
अमरीकी कंपनी एचपी के विरुद्ध ...

 
user comment